रविवार, 13 मई 2018

सुर-२०१८-१३३ : #नौकरी_करना_माँ_नहीं_बनना #माय_लाइफ_माय_कैरियर_को_चुनना





वीकेंड पर ‘समीरा’ बोर हो रही थी तो सोचा क्यों न आज ‘निधि’ के घर जाया जाये सुना आजकल वो मायके आई हुई हैं तो कार उठाई और चल पड़ी उसके घर पहुंची तो देखा वो बड़ी एकाग्रता से अपनी बेटी के नन्हे-नन्हे पैरों में नेल-पोलिश लगा रही थी उस दृश्य को देखकर अचानक वो पांच साल पीछे चली गयी...

‘समीरा’ तुम एबॉर्शन क्यों करना चाहती हो ? क्या कैरियर इतना जरूरी कि उसके लिये तुम एक भ्रूण हत्या करने तैयार हो गयी ?

तुम नहीं समझोगे ‘सौम्य’ कि इस पोजीशन तक पहुँचने मैंने कितनी मेहनत की अब बच्चे की खातिर उससे कोई समझौता नहीं कर सकती वैसे भी कंपनी की तरफ से अमरीका के लिये मेरा सिलेक्शन बड़ी मुश्किल से हुआ फिर न जाने कब ये मौका मिले

‘समीरा’ और जो ईश्वर ने माँ बनने के लिये तुम्हारा सिलेक्शन किया क्या वो कोई छोटी ओपरच्युनिटी हैं फिर पता नहीं दुबारा ये चांस मिले या न मिले

देखो ‘सौम्य’ मुझे इमोशनली ब्लैकमेल करने की कोशिश मत करो मैं माँ बनने के लिये अपने सपनों का त्याग नहीं कर सकती सॉरी

उसके बाद वो तो चली गयी अमरीका और ‘सौम्य’ उसने उसे छोड़कर अपनी अलग दुनिया बसा ली और पिछले पांच सालों में वो बहुत आगे बढ़ गयी वही एक अमरीकी से शादी भी कर ली क्योंकि, उसकी सोच इंडियन मर्दों की तरह नहीं लेकिन, आज ‘निधि’ को अपनी बिटिया के साथ हंसते-मुस्कुराते खेलते देखा तो माँ के कद और पद के आगे अपनी स्टेट्स एकदम नीची लगी जहाँ सब कुछ था लेकिन, उसे देकर भी वो खुद माँ नहीं बन सकती थी क्योंकि, सभी डॉक्टर्स ने इंकार कर दिया और उसके अमरीकी पति को बच्चे पसंद नहीं तो आज उसे लगा कि काश, उसने भी ‘निधि’ की तरह घर और कैरियर दोनों में बैलेंस बनाया होता तो आज वो भी मदर्स डे के सच्चे मायने समझ पाती

माय लाइफ... माय चॉइस... माय कैरियर... माय डिसीजन... जिन लडकियों का नारा और जिसकी खातिर वो माँ बनने के ऑफर को ठुकरा कल ‘समीरा’ की तरह पछताने की जगह अच्छा हो कि ‘निधि’ की तरह दोनों के मध्य संतुलन बनाये अन्यथा एक दिन ‘मदर्स डे’ कहने वाली जनरेशन ही न होगी... ईश्वर और प्रकृति ने ये वरदान सिर्फ स्त्रियों को दिया इसलिये इसे किस तरह अभिशाप बनने से बचाना ये भी उन्हें ही सोचना होगा कहीं ऐसा न हो मर्दों से बराबरी के चक्कर में वे उनकी ही तरह मातृत्व विहीन हो जाये बेहतर हो संभल जाये... आज मातृ दिवस पर बस यही कहना हैं... हैप्पी मदर्स डे टू आल... ☺ ☺ ☺ !!!         

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© ® सुश्री इंदु सिंह इन्दुश्री
नरसिंहपुर (म.प्र.)
१३ मई २०१८

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