‘हाइकू’ की माध्यम से एक प्राकृतिक प्रेम-कहानी को शब्दों में पिरोने की कोशिश की हैं...
ये प्रेमी-प्रेमिका आपके जाने-पहचाने हैं...
चलिये फिर भी आपकी जानकारी के लिये इनके नाम बता ही देती हूँ---
ये प्रेमी-प्रेमिका आपके जाने-पहचाने हैं...
चलिये फिर भी आपकी जानकारी के लिये इनके नाम बता ही देती हूँ---
प्रेमी ---- ‘चाँद’
प्रेमिका
--- ‘चांदनी’
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१.
उसने
कहा
मुझे
चाँद चाहिए
मैं
चाँद बना ।।
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२.
वो
हैं चांदनी
मैं
उसका चंद्रमा
आधे-अधूरे ।।
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३.
रात
में आता
गुप-चुप मिलता
आसमां
तले ।।
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४.
वो
ओढ़े आती
सितारों
की चूनर
लजाती
हुई ।।
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५.
प्यार
हमारा
धीरे-धीरे बढ़ता
पूर्ण
हो जाता ।।
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६.
प्यार
हमारा
धीरे-धीरे घटता
लुप्त
हो जाता ।।
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७.
प्यार
हमारा
कभी
खत्म ना होता
घटे
या बढे ।।
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८.
ग्रहण
लगा
दुनिया
ने डराया
पीछे
ना हटा ।।
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९.
शापित
हुआ
ये
दुःख भी झेला
पर
ना डिगा ।।
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१०.
प्रीत
हमारी
थी
सबसे निराली
अमर
हुई ।।
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आज भी इनका प्रेम अमर हैं और सबके
लिये प्रेरणास्त्रोत कि किस तरह से ये दोनों सदियों से एक-दूसरे का साथ निभा रहे
हैं... <3 !!!
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© ® सुश्री
इंदु सिंह “इन्दुश्री’
नरसिंहपुर (म.प्र.)
२५ अक्टूबर २०१७
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